dharmendar | bollywood movie review | फूल और पत्थर | हिंदी फिल्म

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 फूल और पत्थर | हिंदी फिल्म   

आज हम आप  बताने जा रहे है धर्मेंद्र की  एक ऐसी मूवी के बारे में जिसने धर्मेंद्र को स्टार बनाया बॉलीवुड का HE MAN बनाया | बताएंगे  इस फिल्म की स्टार कास्ट, गीत ,संगीत, स्टोरी के बारे में | 



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बतायेगे 1966 में किस फिल्म ने कमाए थे सबसे ज्यादा रूपये  कौनसी  फिल्म रही थी दूसरे और तीसरे नंबर पर |   बताएंगे वर्ष 1966  में बनी कौन- कौन सी फिल्में  हुई थी फिल्म फेयर बेस्ट फिल्म की केटेगिरी में नॉमिनेट | 

 किस  फिल्म ने जीता था  वर्ष 1967  के फिल्म फेयर समारोह में बेस्ट फिल्म का अवार्ड |  जानना चाहते है तो बने रहिये हमारे साथ |  

  फूल और पत्थर | धर्मेंद्र की  फिल्म |  कलाकार | गाने      


बात करते है फिल्म   फूल और पत्थर  के बारे में  फिल्म रिलीज हुई थी 14 अगस्त   1966   को | फिल्म के निर्माता  निर्देशक   थे ओ  पी  रल्हन  फिल्म में सुपर हिट संगीत दिया था रवि   ने  | 

फिल्म में  गानों अपनी आवाज दी थी आशा भोसले और मो रफ़ि साहब ने परन्तु  फिल्म का गीत संगीत खास लोकप्रिय नहीं हो पाया | 

 फिल्म में मुख्य भूमिका में नजर आये थे   HE  MAN धर्मेंद्र, मीना  कुमारी ,जीवन ,मनमोहन कृष्ण, ललिता पंवार, शशिकला  ,सूंदर ,  मदन पूरी
     
Phool or Patthar Movie
Jeevanamrat

phool aur patthar highest grossing movie of 1966 

   dharmendar | bollywood  movie| phool aur patthar वर्ष 1966  में कमाई के मामले में नंबर तीन पर रही थी, सुनील  दत्त  साधना की  फिल्म  मेरा साया |  फिल्म ने भारत में  कमाए थे 2  करोड़ 25lakh रूपये  फिल्म  सुपर हिट  रही थी  | 

  जबकि नंबर दो पर रही थी राजेंद्र कुमार  वैजयंती माला की फिल्म  सूरज  फिल्म  सुपर हिट  रही थी |  फिल्म ने कमाए थे 2  करोड़ 50 लाख  रूपये |  नंबर 1  पर 2    करोड़ 75 लाख की कमाई के साथ रही थी धर्मेंद्र, मीना कुमारी की फिल्म फूल और पत्थर फिल्म ब्लॉक बस्टर सुपर हिट रही थी |

 धर्मेंद्र की  फिल्म फूल और पत्थर की कहानी 

फूल और पत्थर  हिंदी फिल्म की  कहानी एक ऐसे चोर धर्मेंद्र  शाका  की है जो चोरी चकारी  का काम करता है चोरी चकारी  करते करते वह शातिर चोर बन जाता है अब वह  तड़ी पार की सजा भुगत रहा है 

| अब यह काम वो  अपने  बॉस जॉन मदन पूरी के लिए करता है | एक दिन मदन पूरी धमेंद्र को किसी गांव  के एक सेठ जीवन के यहां  चोरी करने भेजता है | 

जब धर्मेंद्र गांव  में पहुँचता है तो वहां संन्नाटा पसरा रहता है |  गांव में प्लेग फेल  जाने की वजह से सभी लोग गांव छोड़ कर चले गए थे | 

 धर्मेंद्र  सेठ जीवन के मकान में जाता है जहां  उसे खाली तिजोरी और  सेठ की विधवा पुत्र वधू शांति ( मीना  कुमारी )  मिलती है जो बहुत बीमार है |  बीमारी  की वजह से सेठ के परिवार वाले उसे मरने के लिए छोड़ गए थे | 

धर्मेंद्र जो आया  तो चोरी  करने था परन्तु  जब उसे  मीना  कुमारी पर हुए जुल्मो का पता चलता है तो वह उसकी देखभाल करता है |  किसी तरह वैध को लाकर उसका इलाज करवाता है | 

धीरे धीरे मीना  कुमारी ठीक हो जाती है | उधर गांव  से प्लेग की बीमारी भी खत्म हो जाती है |  गावं  वाले धीरे- धीरे अपने घरों  को लौटने लगते है | सेठ जीवन और उसका परिवार भी वापस लोट आते  है |


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 परन्तु सेठ और परिवार वाले मीना  कुमारी  पर अत्याचार करते है | धर्मेंद्र शांति को अपने साथ अपने घर ले आता है  | जहां शांति धर्मेंद्र को चोरी चकारी छोड़ कर मेहनत मजदूरी करने के लिए प्रेरित करती है  | 

धर्मेंद्र  मेहनत मजदूरी करने लगता है कहा  जाता है प्यार मोहब्बत गलत इंसान को भी सही रास्ता दिखा देती है | जबकि नफरत  सही इंसान को भी गलत रस्ते पर चलने पर मजबूर कर देती है  | 

  सच्चा प्रेम पत्थर दिल इंसान को भी फूल की तरह बना देता है |  जबकि नफरत द्वेषता कुंठा अच्छे भले इंसान को पत्थर बना देती है | लेकिन घटना क्रम  मोड़ लेता है  | 

इस जमाने में शांति और सुकून  वाले लोग है कहाँ ?  जीवन और मदन पूरी दोनों ही धर्मेंद्र के दुश्मन बन जाते है |  जीवन धर्मेंद्र और मीना  कुमारी पर अपने  गहनों  की चोरी का इल्जाम लगा देता है  | 

वहीं  मदन पूरी उसे बेईमानी के दलदल में धकेलने के लिए उसके सामने मुसीबते खड़ी करते रहता है  है  परन्तु यह एक कटु सत्य है की honesty  is the  best  policy  ईमानदारी सबसे अच्छी निति है |  

 ईमानदारी संघर्ष  और प्यार मोहब्बत के दम  पर इंसान  जीवन की बड़ी से बड़ी कठिनाइयों से भी जीत  जाता है |  ऐसा ही धर्मेंद्र और मीना  कुमारी के साथ भी होता है |  

Phool or Patthar Dharmendra
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1967    फिल्म फेयर अवार्ड्स  बेस्ट फिल्म 

१९६६ में बनी फिल्मो को 1967  के फिल्म फेयर पुरस्कार में शामिल किया गया  देवानंद वहीदा रहमान की फिल्म गाइड को  9  केटेगीरी  में धर्मेंद्र की फिल्म फूल  पत्थर को 5  केटेगिरी में जबकि राजेंद्र कुमार वैजयंती माला की फिल्म    सूरज को 3  नॉमिनेशन मिले  गाइड  7  अवार्ड जीत कर 1966 की सर्वश्रेष्ठ फिल्म बनी  

un  known  facts 1966 |  फूल और पत्थर | हिंदी फिल्म रिव्यू | धर्मेंद्र की  फिल्म फूल और  पत्थर 

  1.  फिल्म के लिए पहली पसंद धर्मेंद्र की जगह सुनील दत्त थे | 
  2.  फिल्म फूल और पत्थर के लिए  धर्मेंद्र को बेस्ट एक्टर  मीना  कुमारी को बेस्ट ऐक्ट्रेस तथा शशि कला को बेस्ट स्पोर्टिंग ऐक्ट्रेस के लिए नॉमिनेट किया गया था | 
  3. इस फिल्म के बाद    धर्मेंद्र  मीना कुमारी  की जोड़ी कई फिल्मों   दिखाई दी जिनमे  चंदन का  पालना , मंझली दीदी , बहारों  की मंजिल ,  थी |  
  4. फिल्म फूल और पत्थर गोल्डन जुबली हुई  थी | 








  

   

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